नई दिल्ली। गुजरात के उप-मुख्यमंत्री नितिनभाई पटेल और आयुष मंत्रालय के सचिव वैद्य राजेश कोटेचा ने इंस्टीट्यूट ऑफ टीचिंग एंड रिसर्च इन आयुर्वेद (ITRA) और गुजरात सरकार के बीच एक समझौता-ज्ञापन पर हस्ताक्षर किये गये। इस समझौता-ज्ञापन के जरिये जामनगर में आयुर्वेद परिसर में चलने वाले सभी संस्थानों को ITRA के तहत लाया गया है।
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उल्लेखनीय है कि आयुष मंत्रालय के अधीन इंस्टीट्यूट ऑफ टीचिंग एंड रिसर्च इन आयुर्वेद ऐसी एकमात्र संस्था है, जिसे राष्ट्रीय महत्व के संस्थान का दर्जा प्राप्त है। समझौता-ज्ञापन के महत्व का उल्लेख करते हुये नितिन भाई ने कहा कि इस समझौते से आयुर्वेद की सभी शाखाओं की शिक्षण प्रणाली को मजबूत बनाने की राह खुलेगी।
इस समझौते पर हस्ताक्षर किये जाने के अवसर पर उप-मुख्यमंत्री नितिनभाई पटेल ने कहा “इस व्यवस्था से शिक्षा, अनुसंधान और औषधि के क्षेत्रों में नये द्वार खुलेंगे। उम्मीद की जाती है कि आयुर्वेद के क्षेत्र में नये तरीके से शिक्षण की तैयारी करने में आसानी होगी। इसके अलावा चिकित्सा और अनुसंधान प्रणालियों तथा अध्ययन-अनुसंधान प्रक्रिया को भी बल मिलेगा। इस तरह आयुर्वेद की शिक्षा और अनुसंधान का दायरा बढ़ जायेगा।”
ITRA देगा देश के संस्थानों को नया आकार
आयुष मंत्रालय के सचिव वैद्य राजेश कोटेचा ने कहा कि आयुर्वेद के क्षेत्र में नई शिक्षण, चिकित्सा और अनुसंधान प्रणाली तैयार करने में आसानी होगी।
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उन्होंने कहा कि अध्ययन और अनुसंधान प्रक्रिया को और गहन बनाया जा सकता है। कोटेचा ने कहा कि आईटीआरए आयुर्वेद शिक्षा का अनुकरणीय संस्थान है और वह देशभर में अनुसंधान संस्थानों को नया आकार देने में महत्त्वपूर्ण काम कर रहा है।