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भाजपा किसान मोर्चा ने धान ख़रीदी प्रक्रिया के ज़िम्मेदार अधिकारियों व कर्मचारियों की कार्यप्रणाली पर उठाया सवाल

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रायपुर। भाजपा किसान मोर्चा के प्रदेश अध्यक्ष श्यामबिहारी जायसवाल ने धान ख़रीदी व्यवस्था के चौपट होने और अनियमितता बरतते हुए कृषि भूमि धारक का खेत अन्य ख़रीदी केंद्र में अंकित कर उस खाते में अन्य किसान का धान बेचे जाने के मामले को गंभीर बताते हुए प्रदेश सरकार और धान ख़रीदी प्रक्रिया के ज़िम्मेदार अधिकारियों व कर्मचारियों की कार्यप्रणाली पर सवाल खड़ा किया है। जायसवाल ने पीड़ित किसान के साथ हुई नाइंसाफ़ी पर तुरंत कार्रवाई कर उसे इंसाफ़ और दोषियों को दंड देने की मांग की है।

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भाजपा किसान मोर्चा अध्यक्ष जायसवाल ने बताया कि करगी ख़ुर्द सहकारी समिति (कोटा ब्लॉक) में धान विक्रय करने कृषक अमरलाल पिता अंतूलाल ने अपनी कृषि भूमि का पंजीयन कराया था लेकिन तहसील कार्यालय में पंजीयन के दौरान उसकी कृषि भूमि लगभग 3.0620 हेक्टेयर ग्राम मोहदी (पहनं 29 रानिमं) को पंजीयन कम्प्यूटर ऑपरेटर ने कोटा ब्लॉक के धूमा ख़रीदी केंद्र में अंकित कर दिया और अमरलाल की कृषिभूमि के स्थान पर जेठिया पिता गुहा की लगभग 1.064 हेक्टेयर भूमि अंकित कर दी है। जायसवाल ने बताया कि इस संबंध में पीड़ित किसान अमरलाल ने त्रुटि सुधार कराने और ग़लत पंजीयन के लिए कम्प्यूटर ऑपरेटर पर करने की मांग के साथ बिलासपुर ज़िलाधीश को आवेदन भी किया है लेकिन अब तक इस दिशा में प्रशासन ने कोई पहल नहीं की है। जायसवाल ने कहा कि धान ख़रीदी को अब गिनती के ही दिन शेष रह गए हैं और प्रशासनिक उदासीनता के चलते कृषक अमरलाल अपनी उपज समर्थन मूल्य पर बेचने से वंचित रह जाएगा तो इसकी ज़िम्मदारी किसकी होगी?

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भाजपा किसान मोर्चा अध्यक्ष ने कहा कि मामला सिर्फ़ यहीं तक सीमित नहीं है। कृषक अमरलाल के कृषि खाते पर ऑपरेटर द्वारा धूमा ख़रीदी केंद्र में किसी अपने चहेते किसान का धान अन्य सोसाइटी में बेचकर धोखाधड़ी भी की गई है और अब पीड़ित किसान को शिकायत नहीं करने व आपस में इस मामले को सेटल करने की बात उक्त ऑपरेटर कह रहा है। पहले खाता नंबर ग़लत डाला गया, फिर रकबा ग़लत दर्ज किया गया। इस कारण वास्तविक कृषि भूमिधारक अपना धान नहीं बेच पा रहा है। जायसवाल ने कहा कि इस मामले का समाधान तहसील स्तर पर नहीं होने के बाद ज़िलाधीश के स्तर पर भी कोई पहल नहीं होना बेहद गंभीर मसला है।