नई दिल्ली। किसान आंदोलन के समर्थन में और कृषि कानून के विरोध में पंजाब के पूर्व मुख्यमंत्री प्रकाश सिंह बादल (Prakash Singh Badal) ने अपना पद्म विभूषण सम्मान लौटाया है।
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पूर्व मुख्यमंत्री प्रकाश सिंह बादल (Prakash Singh Badal) ने यह सम्मान लौट आते हुए कहा कि “वह किसानों के साथ किए जा रहे केंद्र सरकार के व्यवहार से बेहद आहत है। किसानों के समर्थन सहित कृषि कानून के विरोध में उन्होंने अपना यह सम्मान केंद्र सरकार को वापस लौटाने का फैसला किया है।
Former Punjab CM Parkash Singh Badal returns Padma Vibhushan to protest "the betrayal of the farmers by govt of India" pic.twitter.com/mzdsoAZSlC
— ANI (@ANI) December 3, 2020
बादल (Prakash Singh Badal) ने अपना सम्मान लौटाने के लिए राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद को 3 पन्नों की चिट्ठी लिखी है। जिसमें उन्होंने लिखा है कि “मैं इतना गरीब हूं कि किसानों के लिए कुर्बान करने के लिए मेरे पास कुछ और नहीं। मैं जो भी हूं, किसानों की वजह से हूं, ऐसे में अगर किसानों का अपमान हो रहा है तो किसी तरह का सम्मान मेरे द्वारा रखने का कोई फायदा नहीं है।”
Prakash Singh Badal बोले किसानों से किया धोखा
पूर्व मुख्यमंत्री प्रकाश सिंह बादल (Prakash Singh Badal) ने अपने पत्र में आगे लिखा कि किसानों के साथ जिस तरह का धोखा किया गया है, मैं उस से आहत हूं। केंद्र सरकार के रवैए पर उन्होंने अपनी नाराजगी जाहिर करते हुए कहा कि किसानों के आंदोलन को जिस तरह से गलत नजरिए से पेश किया जा रहा है, वह बेहद दर्दनाक है।
प्रधानमंत्री मोदी और बादल के अच्छे है संबंध
गौरतलब है कि शिरोमणि अकाली दल के कद्दावर नेता प्रकाश सिंह बादल आर वर्तमान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के अच्छे संबंध है। यही वजह है कि अटल बिहार बाजपेयी के समय से भारतीय जनता पार्टी और शिरोमणि अकाली दल का गठबंधन भी अब तक ज़ारी रहा।
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प्रकाश सिंह के बेटे सुखबीर बादल को पार्टी की कमान देने के बाद से ही वे राजनैतिक गतिविधियों से दूर रहते है, जिसके बाद भाजपा और शिरोमणि अकाली दल का गठबंधन भी टूटा था। यहां यह बताना भी जरूरी है कि प्रकाश सिंह बादल 5 बार पंजाब के मुख्यमंत्री रह चुके है।