दिल्ली। समुद्री गाय (sea cow) के संरक्षण के लिए तमिलनाडु सरकार ने ठोस कदम उठाया है। तमिलनाडु सरकार ने पहली बार तमिलनाडु तट पर पहली बार रिजर्व की स्थापना की जाएगी। तमिलनाडु विधानसभा में फॉरेस्ट बजट की घोषणा के तौर पर वन मंत्री के रामचंद्रन ने बताया कि मन्नार की खाड़ी और पाल्क खाड़ी क्षेत्र में एक समुद्री संरक्षण रिजर्व स्थापित किया जाएगा।
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इस दौरान मंत्री ने घोषणा कि सी काऊ (समुद्री गाय) एक लुप्तप्राय समुद्री स्तनपायी है। तमिलनाडु में यह मन्नार की खाड़ी में पाया जाता है, जो तमिलनाडु के दक्षिण पूर्वी सिरे और श्रीलंका के पश्चिमी भाग और पाक खाड़ी के बीच एक उथला खाड़ी क्षेत्र है। वनमंत्री ने कहा, कि रहने की जगह की कमी, समुद्री प्रदूषण और समुद्री घास के नुकसान के कारण समुद्री गायों को विलुप्त होने का खतरा झेलना पड़ रहा है। उन्होंने कहा कि इन्हें (sea cow) बचाने के लिए सामुदायिक भागीदारी के साथ क्षेत्र में डुगोंग समुद्री संरक्षण रिजर्व स्थापित किया जाएगा। माना जाता है कि के अनुमानित 200 डुगोंग उस क्षेत्र में रहते हैं। तमिलनाडु सरकार के हालिया फैसले से इन्हें काफी लाभ मिलेगा।
500 किलोमीटर का एरिया होगा कवर
मरीन कंजरवेशन रिजर्व पाल्क की खाड़ी में पांच सौ किलोमीटर की एरिया कवर करेगा। वनमंत्री ने बताया, कि डुगोंग, एक समुद्री स्तनपायी और सिरेनिया क्रम की एकमात्र जीवित प्रजाति है और समुद्री घास के कारण तटीय आवास तक ही सीमित है। डुगोंग (sea cow) के पास डॉल्फिन की तरह पूंछ होती है।