रायपुर। राज्यपाल अनुसुईया उइके और प्रदेश के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने गुरू पूर्णिमा के अवसर पर प्रदेशवासियों को हार्दिक बधाई एवं शुभकामनाएं दी हैं।
राज्यपाल अनुसुईया उइके ने प्रदेशवासियों को अपनी ओर से बधाई एवं शुभकामनाएं देते हुए कहा कि “गुरू का किसी भी व्यक्ति के जीवन में सबसे महत्वपूर्ण स्थान होता है। हमें जीवन में गुरू के दिखाए मार्ग से सफलता मिलती है। गुरू ही हमारा मार्गदर्शन करता है और हमें अंधकार से निकालकर प्रकाश की राह में ले जाता है।”
राज्यपाल उइके ने कहा कि सही और गलत में अंतर करना सिखाता है। सही अर्थों में वह हमारा दूसरा जन्मदाता होता है। हमारे देश में गुरूओं को प्राचीन समय से ही महत्वपूर्ण स्थान दिया जाता रहा है। उन्हें साक्षात ब्रम्हा की उपमा दी गई है। इस अवसर पर हमें अपने गुरूजनों को याद करते हुए उनकी दी गई शिक्षा को जीवन में उतारने का संकल्प लेना चाहिए।
इधर मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने प्रदेशवासियों को गुरू पूर्णिमा की बधाई और शुभकामनाएं दी। मुख्यमंत्री ने कहा कि भारतीय संस्कृति में गुरू को सर्वाेच्च स्थान दिया गया है। महाभारत और वेदों के रचयिता महर्षि वेद व्यास के अवतरण दिवस आषाढ़ पूर्णिमा के दिन भारत में गुरू पूर्णिमा मनाने की परम्परा रही है।
इस दिन गुरूओं के अमूल्य ज्ञान और मार्गदर्शन के प्रति सम्मान और आभार प्रकट किया जाता है। गुरू जीवन में अज्ञानता के अंधकार को मिटाकर ज्ञान की रोशनी लेकर आते हैं। मुख्यमंत्री ने कहा कि गुरूओं द्वारा दी गई अमूल्य शिक्षा को जीवन में उतारकर हमें आगे बढ़ना चाहिए।