अजमेर। 809वें उर्स के मुबारक मौके पर ख्वाजा मोइनुद्दीन चिश्ती के अजमेर शरीफ दरगाह पर प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की ओर से “चादर” पेश की गई। पीएम की तरफ से ये चादर केन्द्रीय अल्पसंख्यक कार्य मंत्री मुख्तार अब्बास नकवी ने पेश की और देश के अमन चैन के लिए दुआ मांगी।
इस दौरान नकवी ने कहा कि “सहिष्णुता और सदभाव भारत का डीएनए है और हमारे देश की इस गौरवशाली विरासत को कोई भी बदनाम और ध्वस्त नहीं कर सकता।
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नकवी ने प्रधानमंत्री के संदेश को भी पढ़ा जिसमें उन्होंने भारत और विदेशों में बसे ख्वाजा मोइनुद्दीन चिश्ती के अनुयायियों को सालाना उर्स के अवसर पर बधाई और शुभकामनाएं दीं।
अजमेर शरीफ दरगाह हमारी विरासत-पीएम
अपने संदेश में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने कहा कि “ख्वाजा मोइनुद्दीन चिश्ती के 809वें उर्स के अवसर पर दुनिया भर में ख्वाजा मोइनुद्दीन चिश्ती के अनुयायियों को बधाई एवं शुभकामनाएं।
यह वार्षिक उत्सव सामाजिक एकता और भाईचारे का एक सुंदर उदाहरण है। विभिन्न धर्मों, संप्रदायों और उनसे जुड़ी मान्यताओं का समरसतापूर्ण सह-अस्तित्व हमारे देश की एक शानदार विरासत है।
हमारे देश के विभिन्न संतों, पीर और फकीरों ने इस धरोहर को सहेजने और उसे मजबूत बनाने में अहम भूमिका निभाई है। शांति और सदभाव के उनके शाश्वत संदेशों ने हमारी सामाजिक-सांस्कृतिक विरासत को हमेशा समृद्ध किया है।
प्रधानमंत्री मोदी ने अपने संदेश में आगे कहा कि “ख्वाजा मोइनुद्दीन चिश्ती, जिन्होंने अपने सूफी विचारों के जरिए समाज में अमिट छाप छोड़ी है, हमारी महान आध्यात्मिक परंपराओं के आदर्श प्रतीक हैं। प्रेम, एकता, सेवा और सदभाव की भावना को प्रोत्साहित करने वालेगरीब नवाज के मूल्य और विचार हमेशा मानवता को प्रेरित करते रहेंगे।
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ख्वाजा मोइनुद्दीन चिश्ती के सालाना उर्स पर, मैं अजमेर शरीफ दरगाह पर “चादर” भेजने के माध्यम से अपनी श्रद्धांजलि व्यक्त करता हूं और देश के लोगों की खुशहाली, कल्याण और समृद्धि के लिए प्रार्थना करता हूं।”