इंफाल। मणिपुर में भड़की जातीय हिंसा (MANIPUR HINSA) के पीड़ितों से मिलने के लिए विपक्षी गठबंधन ’इंडियन नेशनल डेवपलपमेंटल इन्क्लूसिव अलायंस (इंडिया) के 21 सांसदों का प्रतिनिधिमंडल शनिवार को इंफाल पहुंचा। प्रतिनिधिमंडल के सदस्यों ने चुराचांदपुर के स्थापित राहत शिविर का दौरा किया और लोगों से मिलकर हालात की जानकारी ली। वहीं भाजपा ने दौरे को दिखावा बताया है।
इंफाल पहुंचे प्रतिनिधिमंडल में शामिल कांग्रेस के नेता अधीर रंजन चौधरी ने कहा कि मणिपुर की जातीय हिंसा भारत की छवि खराब कर रही है। इसे समाप्त करने के लिए सभी दलों को मिलकर शांतिपूर्ण समाधान खोजना चाहिए। हम चाहते हैं राज्य में जल्द हिंसा समाप्त हो। उन्होंने कहा कि हम यहां किसी भी तरह की राजनीति करने नहीं आए हैं।
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इस दौरान कांग्रेस सांसद के. सुरेश और राजद (MANIPUR HINSA) के सांसद मनोज झा ने मणिपुर हिंसा के मामले में केंद्र और राज्य सरकार पर खराब तरीके से निबटने का आरोप लगाया। प्रतिनिधिमंडल के सदस्य 30 जुलाई तक राज्य का दौरा करेंगे। इसके बाद दिल्ली लौटकर हिंसा और लोगों की समस्याओं के समाधान को लेकर सरकार और संसद को राय देंगे।
हिंसा में चीन का हाथ
मणिपुर में जारी हिंसा के बीच (MANIPUR HINSA) पूर्व सेना प्रमुख जनरल एम. एम. नरवणे ने बड़ा खुलासा किया है। उन्होंने कहा कि इस हिंसा के पीछे चीन का हाथ हो सकता है। उन्होंने कहा कि मणिपुर हिंसा में विदेशी एजेंसियों की संलिप्तता से इनकार नहीं किया जा सकता। इंडिया इंटरनेशनल सेंटर में राष्ट्रीय सुरक्षा परिप्रेक्ष्य विषय पर आयोजित एक चर्चा में जनरल (सेवानिवृत्त) नरवणे ने मणिपुर में विद्रोही संगठनों को चीन की ओर से दी जा रही सहायता का भी उल्लेख किया।